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वैदिक ज्योतिष तथा ज्योतिष शास्त्र में वृषभ लग्न (Vrishabh Lagna)

वैदिक ज्योतिष तथा ज्योतिष शास्त्र में वृषभ लग्न (Vrishabh Lagna)

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वैदिक ज्योतिष तथा ज्योतिष शास्त्र में 12 लग्न है और उन लग्नों में दूसरा लग्न है “वृषभ लग्न” (Vrishabh Lagna)। वृषभ लग्न के स्वामी “शुक्र ग्रह हैं। इस लेख में हमने वृषभ लग्न से जुड़ी सभी जरूरी बातों को शामिल किया है, जैसे की : वृषभ लग्न का व्यक्तित्व, वृषभ लग्न के लोगों का शारीरिक गठन तथा स्वास्थ्य, वृषभ लग्न के जातकों का प्रेम सम्बन्ध। इसके साथ ही हम जानेंगे, वृषभ लग्न के लोगों के शुभ तथा अशुभ ग्रह, शुभ रंग तथा शुभ रत्न क्या है? तो, चलिए जान लेते है, वृषभ लग्न से जुड़ें इन जरुरी बातों को : 

वैदिक ज्योतिष शास्त्र में वृषभ लग्न : (Vedic Jyotish Shastra Me Vrishabh Lagna)

वृषभ लग्न का स्वामी “शुक्र ग्रह” (Shukra Grah) हैं। इस लग्न के जातकों पर शुक्र ग्रह का प्रभाव रहता है। वृषभ लग्न के लोग बहुत ही प्रभावशाली होते हैं और कुछ ऐसा करते है जो समाज में अपनी छाप छोड़ दे ।

वृषभ – पृथ्वी तत्व की राशि है। इस लग्न के जातक का जीवन के प्रति धीमा और स्थिर दृष्टिकोण होता है। ये पुरे दिल से प्रकृति तथा जीवन के बारीक चीजों का अनुभव करते है। वृषभ लग्न के जातक स्वभाव से जिद्दी होते है। ये रूढ़िवादी होते है। पुराणी संस्कृति को मान कर ही अपना सारा जीवन बिता देते है।

कुल मिलाकर, ये सामान्य जीवन ही जीते हैं और अपने जीवन में कोई भी बदलाव पसंद नहीं करते। वैदिक ज्योतिष के अनुसार, वृषभ लग्न वाले एक विश्वसनीय और वफादार मित्र साबित होते है लेकिन अनजान लोगो से अक्सर धोखा ही पाते हैं।

वृषभ लग्न के जातक का व्यक्तित्व : (Vrishabh Lagna Ke Jatak Ka Vyaktitva)

वृषभ लग्न के जातक मेहनती होते है। शुक्र ग्रह की प्रधानता होने के कारण वृषभ लग्न वाले कला के क्षेत्र में निपूर्ण होते हैं। इस लग्न के जातक जीवन के प्रति बहुत व्यावहारिक होते है। वृषभ लग्न के लोग जीवन में कुछ निश्चित सिद्धान्तों का पालन अपने जिद्दी स्वभाव के साथ करते है। इस लग्न के जातक का लचीला व्यक्तित्व होता है जो इनके विचारों तथा कार्यों पर ही निर्धारित होता है। इस लग्न के जातक जोखिमपूर्ण कार्य न उठाकर सुरक्षित मार्ग पर चलना पसंद करते है। वृषभ लग्न के जातक अपने संबंधों को लेकर बहुत ही भावुक होते हैं और उन्हें तोड़ना नहीं चाहते ।

यदि किसी की वृषभ लग्न की जन्म कुंडली में वृषभ की राशि अष्टक या उच्च में बैठ जाये तो इस लग्न के जातक भरोसेमंद, स्थिर, सफल और आकर्षक होते हैं। रूप और स्वभाव दोनों तरह से ही लोग इनके प्रति खींचे चले जाते है। इन्हें अपने परिवार के साथ रहना पसंद होता है। इस लग्न के जातक यथार्थवादी होते हुए प्रकृति और जीवन के सुखों का आनंद लेते है। जन्मकुंडली में वृषभ के स्वामी पर सूर्य की दृष्टि पड़ जाये या दोनों युति बनाये हुए हों तो जातक कई तरह के परेशानियों का सामना भी करता है। वृषभ लग्न के जातकों में और भी कई गुण होते है, जो इस प्रकार है :

  1. वृषभ लग्न के जातक मेहनती होते है।
  2. इस लग्न के जातक अपने कुल के नियमों का उल्लंघन पसंद नहीं करते और जीवन भर उसी का अनुसरण करते है।
  3. वृषभ लग्न के जातक जोखिम उठाना पसंद नहीं करते। जीवन को सहजता से जीने में ही विश्वास रखते है।
  4. इस लग्न के जातक किसी भी नयी स्थिति का सामना बहुत ही सावधानी से धीरे-धीरे करते है।
  5. वृषभ लग्न के जातक एक वफादार इंसान होते है और किसी के साथ भी विश्वासघात नहीं करते।
  6. इन्हें प्रकृति से प्रेम होता है और संगीत के प्रति इनका रुझान ज्यादा होता है ।
  7. वृषभ लग्न के जातक यथार्थवादी तथा रूढ़िवादी होते हैं।

वृषभ लग्न के जातक की शारीरिक विशेषता : (Vrishabh Lagna – Sharirik Visheshta)

शारीरिक दृष्टिकोण से वृषभ लग्न के जातक सुडौल तथा मजबूत व गठीले शरीर के होते है। वृषभ लग्न वाले औसत कद काठी के होते है। शुक्र ग्रह की प्रधानता के कारण इस लग्न के जातक दिखने में काफी आकर्षक होते हैं। इनकी त्वचा कोमल होती है। “बैल” वृषभ लग्न का प्रतीक है और इस कारण ये मजबूत शारीरिक ढांचे वाले होते हैं। इनकी गर्दन बहुत ही मजबूत होती है। इनके वाणी में मधुरता होती है।

वृषभ लग्न के जातक की मानसिक विशेषता : (वृषभ Lagna – Mansik Visheshta)

वृषभ लग्न के जातक मानसिक दृष्टिकोण से संतुष्ट होते है। इस लग्न के जातक बहुत दयालु होते है दूसरों की सेवा करना इनका प्राथमिक धर्म होता है। इनका स्वभाव अड़ियल होता है एक बार जो ठान ले उसे पूरा कर के ही दम लेते हैं ।

वृषभ लग्न : प्रेम और संबंध : (Vrishabh Lagna – Prem Sambandh)

इस लग्न के जातक प्रेम सम्बन्ध दिल से निभाते हैं। जन्म कुंडली में शुक्र यदि शुभ स्थिति में हो तो इनका वैवाहिक जीवन अच्छा होता है और यदि शुक्र किसी अशुभ भाव या पाप ग्रह के प्रभाव में हो तो इन्हें प्रेम नसीब नहीं होता जिसके कारण के मानसिक तौर पर परेशान ही रहते हैं। इस लग्न के जातकों का जल तथा पृथ्वी तत्व के लोगों के साथ अच्छी बनती है, जैसे की – कन्या, मकर, कर्क, वृश्चिक, और मीन लग्न के लोगों के साथ।

वृषभ लग्न वालों का स्वास्थ्य : (Vrishabh Lagna Walo Ka Swasthya)

वृषभ लग्न वालों को गले से सम्बंधित बीमारियां होती है। इन्हें अक्सर सर्दी, जुकाम, खांसी हो जाता है। इनके अलावा ये गुर्दें तथा प्रजनन अंगों से जुड़े बिमारियों से परेशान होते है।

वृषभ लग्न राशि वालों के लिए शुभ ग्रह : (Vrishabh Lagna – Shubh Grah)

वृषभ लग्न वालों के लिए सबसे शुभ ग्रह “शनि ग्रह” है – क्योंकि जन्म कुंडली के नवम तथा दशम भाव का स्वामी ग्रह शनि है अर्थात केंद्र और त्रिकोण का स्वामी। इसके अलावा बुध तथा शुक्र भी शुभ ग्रह है। वृषभ लग्न के लिए सूर्य एक तटस्थ ग्रह है।

वृषभ लग्न राशि वालों के लिए अशुभ ग्रह : (Vrishabh Lagna – Ashubh Grah)

इस लग्न के लिए “बृहस्पति ग्रहआठवे भाव का स्वामी ग्रह है और इस कारण वृषभ लग्न के लिए बृहस्पति अशुभ ग्रह माना जाता है।

वृषभ लग्न वालों के लिए शुभ रंग : (Vrishabh  Lagna – Shubh Rang)

वृषभ लग्न वालों के लिए क्रीम या हल्का क्रीम और सफेद रंग शुभ होता है।

वृषभ लग्न वालों के लिए भाग्यशाली रत्न : (Vrishabh  Lagna – Bhagyashali Ratna)

वृषभ लग्न वालों के लिए रत्नों में हीरा और ओपल बहुत ही शुभ फलदायी तथा भाग्यशाली साबित होते है।

Frequently Asked Questions

1. कौन सी वायु तत्व राशि, वृषभ लग्न वालों के लिए शुभ होती है?

वृषभ लग्न वालों के लिए शुभ वायु तत्व राशियां : मिथुन राशि और कुंभ राशि

2. कौन सी अग्नि तत्व राशि वृषभ लग्न वालों के लिए शुभ होती है?

वृषभ लग्न वालों के लिए शुभ अग्नि तत्व राशियां : सिंह राशि और धनु राशि

3. कौन सी रंग वृषभ लग्न वालों के लिए शुभ होती है?

वृषभ लग्न वालों के लिए क्रीम या हल्का क्रीम और सफेद रंग शुभ होते है।

4. वृषभ लग्न वालों का शुभ रत्न कौन सा है?

वृषभ लग्न वालों के लिए शुभ रत्नहीरा और ओपल है।

5. कौन सा ग्रह वृषभ लग्न के लिए योगकारक होता है?

शनि ग्रह, वृषभ लग्न के लिए योगकारक होता है।

6. कौन सा ग्रह वृषभ लग्न के लिए अशुभ होते हैं?

वृषभ लग्न के लिए अशुभ ग्रहबृहस्पति है।